728x90 AdSpace

This Blog is protected by DMCA.com

DMCA.com for Blogger blogs Copyright: All rights reserved. No part of the hamarajaunpur.com may be reproduced or copied in any form or by any means [graphic, electronic or mechanical, including photocopying, recording, taping or information retrieval systems] or reproduced on any disc, tape, perforated media or other information storage device, etc., without the explicit written permission of the editor. Breach of the condition is liable for legal action. hamarajaunpur.com is a part of "Hamara Jaunpur Social welfare Foundation (Regd) Admin S.M.Masoom
  • Latest

    शनिवार, 24 अक्तूबर 2015

    गूंजी हाय हुसैन हाय हुसैन की सदा और किया रुखसत अपने मेहमान इमाम हुसैन (अ.स )


    जौनपुर। जनपद में शनिवार को गमगीन माहौल में यौमे आशूरा मनाया गया। इस मौके पर लोगों ने आंसूओं के साथ ताजियों को अपनी-अपनी कर्बलाओं में सुपुर्द ए खाक कर दिया। इसके बाद अजाखानों में मजलिसें शामे गरीबां आयोजित हुई। नगर के विभिन्न इलाकों में निर्धारित समय के अनुसार ताजिए उठाये गये। जिसके साथ मातमी अंजुमनों ने नौहा और मातम किया। नगर क्षेत्र के अधिकांश ताजिये सदर इमामबारगाह स्थित गंजे शहीदा में सुपुर्द ए खाक किये गये। जबकि कुछ ताजिए मोहल्लों की कर्बलाओं में भी सुपुर्द ए खाक हुए।

    चहारसू चौराहे से उठा जुलूस शिया जामा मस्जिद होता हुआ अपने मुख्य मार्गों से गुजरकर सदर इमामबारगाह पहुंचा। इसी प्रकार इमामबाड़ा शाह अबुल हसन भंडारी, बलुआघाट, कटघरा, मोहल्ला रिजवीं खां, पुरानी बाजार, ताड़तला, बारादुअरिया, यहियापुर, पानदरीबा के ताजिए भी सदर इमामबारगाह स्थित गंजे शहीदा में दफ्न हुए। सिपाह मोहल्ले के ताजिये नबी साहब स्थित गंजे शहीदा में दफ्न किये गये। इसके पूर्व बलुआघाट स्थित शाही किला मस्जिद, मोहल्ला दीवान शाह, कबीर, ताड़तला की मस्जिद समेत अन्य स्थानों पर नमाजे आशूरा का आयोजन हुआ। देर शाम सदर इमामबारगाह की ईदगाह मैदान में मजलिसें शामे गरीबां आयोजित हुई जिसे कैसर नवाब ने सम्बोधित किया।

    स्थानीय अंजुमनें नौहा और मातम करती हुई मखदूम शाह स्थित रौजे ए इमाम हुसैन पर पहुंची जहां एक मजलिस आयोजित हुई जिसे मौलाना हुसैन अकबर ने खेताब किया। वहां से सभी ताजिए जुलूस की शक्ल में एक साथ कर्बला के लिए रवाना हुए। शाम करीब चार बजे सभी ताजिये कर्बला पहुंचे जहां सभी अंजुमनों ने अपने अपने दस्ते के साथ नौहा और मातम किया। इसके बाद सभी अंजुमनों के मेम्बरान जंजीर, कमा और अंगारे का मातम किया और जुलजनाह को रौजे हजरत अब्बास से मिलाया गया और सभी ताजियों को कर्बला के तालाब में सुपुर्द ए आब कर दिया गया। जिसके बाद मजलिसें शामे गरीबां आयोजित हुई जिसे मौलाना गुलाम बाकिर ने खेताब किया। देर शाम पुन: सभी गांवों के अजाखानों में मजलिसें शामे गरीबां आयोजित की गयी। इसके पूर्व सभी गांवों में सुबह करीब 10 बजे यौमे आशूरा की नमाज अदा करायी गयी। कर्तिहां गांव का ताजिया स्थानीय कर्बला में दफ्न किया गया। गांव से उठा हुआ जुलूस नौहा मातम के साथ अपने कदीमी रास्तों से गुजरता हुआ देर शाम कर्बला पहुंचा था।
    • Blogger Comments
    • Facebook Comments

    0 comments:

    एक टिप्पणी भेजें

    हमारा जौनपुर में आपके सुझाव का स्वागत है | सुझाव दे के अपने वतन जौनपुर को विश्वपटल पे उसका सही स्थान दिलाने में हमारी मदद करें |
    संचालक
    एस एम् मासूम

    Item Reviewed: गूंजी हाय हुसैन हाय हुसैन की सदा और किया रुखसत अपने मेहमान इमाम हुसैन (अ.स ) Rating: 5 Reviewed By: S.M.Masoom
    Scroll to Top